नेपाल में चल रहे जेनजेड विवाद का असर अब वाराणसी के पर्यटन उद्योग पर भी देखने को मिल रहा है। नेपाल हिंदू और बौद्ध सर्किट का महत्वपूर्ण हिस्सा होने के कारण वाराणसी से जुड़ा हुआ है, लेकिन हाल ही में विवाद की वजह से पर्यटकों ने नेपाल यात्रा रद्द करना शुरू कर दिया है। इससे न केवल टूर ऑपरेटरों की मुश्किलें बढ़ गई हैं, बल्कि होटल, परिवहन और अन्य पर्यटन से जुड़े व्यवसायों पर भी गंभीर असर पड़ा है।
टूर ऑपरेटरों का कहना है कि पिछले कुछ हफ्तों में लगभग 30-40% बुकिंग रद्द हो चुकी हैं। खासकर उन यात्रियों ने अपनी योजनाएँ बदल दी हैं जो नेपाल के धार्मिक और सांस्कृतिक स्थलों को देखने आते थे। टूर ऑपरेटरों ने चेतावनी दी है कि यदि विवाद लंबे समय तक जारी रहा तो पूरे पर्यटन उद्योग को भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है।
होटल और परिवहन व्यवसाय भी इस समस्या से अछूते नहीं हैं। वाराणसी के प्रमुख होटल संचालकों ने बताया कि बुकिंग रद्द होने से उनके महीने के लाखों रुपये का नुकसान होने का अनुमान है। वहीं, टैक्सी और बस संचालक भी कम पर्यटकों के कारण अपनी आमदनी में गिरावट महसूस कर रहे हैं। पर्यटन विशेषज्ञों का कहना है कि वाराणसी के स्थानीय अर्थव्यवस्था पर इसका असर तत्काल दिखाई दे रहा है और यदि स्थिति सामान्य नहीं हुई तो लंबे समय तक आर्थिक दबाव बना रह सकता है।
विशेषज्ञों के अनुसार, नेपाल यात्रा रद्द होने के कारण वाराणसी के धार्मिक पर्यटन पर भी असर पड़ेगा। वाराणसी से नेपाल तक हिंदू और बौद्ध सर्किट के माध्यम से यात्राएँ होती हैं, और इस नेटवर्क के बाधित होने से स्थानीय पर्यटन का संपूर्ण चक्र प्रभावित होगा। उन्होंने प्रशासन और पर्यटन विभाग से अपील की है कि वे पर्यटकों को जानकारी प्रदान करें और उन्हें सुरक्षित यात्रा सुनिश्चित करने के उपाय बताएं।
टूरिज्म विभाग ने भी चेतावनी दी है कि नेपाल की यात्रा रद्द होने की वजह से वाराणसी के पर्यटन व्यवसाय को नुकसान हो रहा है। उन्होंने कहा कि पर्यटन उद्योग में स्थिरता बनाए रखने के लिए स्थानीय कार्यक्रमों और पैकेजों को बढ़ावा दिया जाएगा, ताकि पर्यटक अन्य गंतव्यों की ओर आकर्षित हों और आर्थिक नुकसान को कम किया जा सके।
स्थानीय व्यापारियों और टूर ऑपरेटरों का कहना है कि विवाद की वजह से पर्यटकों की असुरक्षा की भावना बढ़ गई है। उन्होंने प्रशासन से अपील की है कि वे नेपाल और वाराणसी के बीच पर्यटन नेटवर्क को प्रभावित किए बिना समाधान खोजें और यात्रियों को भरोसा दिलाएँ कि उनकी यात्रा सुरक्षित है।
वाराणसी का पर्यटन उद्योग हमेशा से धार्मिक और सांस्कृतिक यात्रियों पर निर्भर रहा है। नेपाल में विवाद और उसकी वजह से बुकिंग रद्द होने की घटनाएँ स्थानीय अर्थव्यवस्था के लिए गंभीर चेतावनी हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि स्थिति जल्दी नियंत्रित नहीं हुई तो वाराणसी में पर्यटन से जुड़े व्यवसायों को करोड़ों रुपये का नुकसान उठाना पड़ सकता है।
इस प्रकार, नेपाल का जेनजेड विवाद केवल सीमा पार की राजनीति तक सीमित नहीं रह गया है, बल्कि इसका असर सीधे वाराणसी के पर्यटन उद्योग और स्थानीय अर्थव्यवस्था पर दिखाई दे रहा है। प्रशासन और टूर ऑपरेटरों के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण है, और उन्हें मिलकर उपाय करने होंगे ताकि पर्यटन का चक्र प्रभावित न हो।
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