रामनाथपुरम। भारत के उपराष्ट्रपति सी पी राधाकृष्णन ने गुरुवार को बड़ा दावा किया है। राधाकृष्णन ने कहा है कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की मृत्यु विमान दुर्घटना में नहीं हुई थी। पासुमपोन में थेवर को श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद उपराष्ट्रपति ने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा, “हालांकि मेरे पास कोई सबूत नहीं है, लेकिन मेरा मानना है कि बोस की मृत्यु उस विमान दुर्घटना में नहीं हुई थी, क्योंकि नेताजी के अनुयायी, स्वतंत्रता सेनानी पासुमपोन मुथुरामलिंगा थेवर ने खुद यह बात कही थी। उपराष्ट्रपति पद संभालने के बाद पहली बार तमिलनाडु पहुंचे थे।
उपराष्ट्रपति ने बताया कि पासुमपोन ने कहा था, ‘नेताजी की मृत्यु उस विमान दुर्घटना में नहीं हुई थी और मैं उनसे मिला था।’ उपराष्ट्रपति ने आगे कहा कि उन्हें थेवर की बातों पर पूरा विश्वास है क्योंकि उन्होंने अपने जीवन में कभी झूठ नहीं बोला। राधाकृष्णन ने कहा, “उन्होंने अपनी राजनीतिक यात्रा में भी आध्यात्मिकता का मार्ग अपनाया, यही उनकी महानता थी।”
बता दें कि गुरुवार को थेवर की 118वीं जयंती मनाई गई। राधाकृष्णन ने इस दौरान यह भी भी बताया कि जब पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू स्वतंत्रता आंदोलन में उनके बलिदान के सम्मान में थेवर को मुख्यमंत्री बनाना चाहते थे, तो थेवर ने इससे इनकार कर दिया था। राधाकृष्णन ने आगे कहा, “उन्होंने नेहरू से कहा था कि वह बस इतना चाहते हैं कि नेताजी के साथ न्याय हो।”
बोस की मृत्यु को लेकर हैं कई थ्योरीज
आधिकारिक तौर पर नेताजी सुभाष चंद्र बोस की मृत्यु 18 अगस्त 1945 को ताइवान में एक विमान दुर्घटना में हुई थी। हालांकि इस घटना को लेकर कई सिद्धांत और विवाद हैं और कई लोगों का मानना है कि उनकी मृत्यु उस विमान दुर्घटना में नहीं हुई थी। नेताजी जिस विमान में यात्रा कर रहे थे, वह ताइहोकू हवाई अड्डे से उड़ान भरने के तुरंत बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। जानकारी के मुताबिक विमान दुर्घटना के कारण वे गंभीर रूप से जल गए थे और उसी रात अस्पताल में उनकी मृत्यु हो गई थी। वहीं नेताजी के एक सहयोगी, करनाल हबीबुर रहमान ने भी शाहनवाज कमेटी को बयान दिया कि नेताजी की मृत्यु विमान दुर्घटना में ही हुई।
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